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• Fri, 18 Oct 2024 11:08 am IST


राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग ने मुख्य सचिवों को लिखा पत्र , मदरसा बोर्ड भंग करने की सिफारिश की


देहरादून: उत्तराखंड में इन दोनों थूक जिहाद का मामला काफी अधिक चर्चाओं में है. इसी बीच राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग की ओर से देश के सभी मुख्य सचिवों को एक पत्र भेजा गया है. इस पत्र में मदरसा बोर्ड भंग करने की सिफारिश की गई है. इस मामले पर चर्चाओं का बाजार गर्म हो गया है. राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग के पूर्व अध्यक्ष प्रियंक कानूनगो ने अध्यक्ष रहते हुए 10 अक्टूबर को 'आस्था के संरक्षक या अधिकारों के उत्पीड़क: बच्चों के संवैधानिक अधिकार बनाम मदरसे' के संबंध में सभी राज्यों के मुख्य सचिव को पत्र भेजा था.

सभी राज्यों के मुख्य सचिव को भेजे गए पत्र में तात्कालिक राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग के अध्यक्ष ने सिफारिश की है कि "केवल बोर्ड का गठन करने या यूडीआईएसई कोड लेने का मतलब ये नहीं है कि मदरसे आरटीई अधिनियम, 2009 में दिए गए प्रावधानों का पालन कर रहे हैं. ऐसे में सभी राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में मदरसों और मदरसा बोर्डों को राज्य सरकारों की ओर से दिया जाने वाला वित्त पोषण बंद कर दिया जाए, साथ ही मदरसा बोर्डों को बंद कर दिया जाए'