अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद आतंकी संगठन 'भारतीय उपमहाद्वीप में अल-कायदा' एक बार फिर कश्मीर में पांव जमाने की फिराक में है। संयुक्त राष्ट्र ने अपनी एक रिपोर्ट में आतंकी संगठन को लेकर ये दावा किया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि अल-कायदा के अधीनस्थ होने के कारण एक्यूआइएस अफगानिस्तान में अधिक चर्चा में नहीं रहता। लेकिन वहां उसके अधिकतर आतंकी मौजूद हैं। इनमें बांग्लादेश, भारत, म्यांमार और पाकिस्तान के नागरिक शामिल हैं। वे गजनी, हेलमंद, कांधार, निमरुज, पक्तिका और जाबुल प्रांत में सक्रिय हैं। तालिबान के कब्जे के 9 महीने बाद एक और रिपोर्ट जारी की गयी। इस रिपोर्ट के मुताबिक, 'अफगानिस्तान में नई परिस्थितियां अल-कायदा की तरह एक्यूआइएस को भी खुद को पुनर्गठित करने की इजाजत दे सकती हैं।
एक्यूआइएस की पत्रिका का नाम वर्ष 2020 में नवा-ए-अफगान जिहाद से बदलकर नवा-ए-गजवा-ए हिंद किया जाना संकेत है कि वह अपना ध्यान एक बार फिर अफगानिस्तान से कश्मीर की ओर केंद्रित कर रहा है। बता दें कि, अप्रैल 2019 के श्रीलंका आतंकी हमलों के बाद अल-जवाहिरी ने कश्मीर में जिहाद की अपील की थी।' रिपोर्ट में सदस्य देशों ने यह भी बताया है कि वर्ष 2021 की दूसरी छमाही में अफगानिस्तान से नशीले पदाथरें की तस्करी के मामलों में वृद्धि हुई है।