देश की अधिकांश राज्य सरकारें कंगाली में संचालन करने को मजबूर हैं। आंध्र प्रदेश की जगन मोहन रेड्डी सरकार की वित्तीय हालत खस्ता है। यहां तक कि, स्कूलों के जीर्णोद्धार या नवीनीकरण की अपनी महत्वाकांक्षी योजना के लिए ही पैसा नहीं है। इस कारण योजना का काम ठप हो गया है।
सीएम जगन रेड्डी ने 'मन बाड़ी: नाडू-नेडू' (हमारा स्कूल, तब और अब) योजना शुरू की है। लेकिन योजना के दूसरे चरण का काम धन की कमी के कारण रुक गया है। स्कूली शिक्षा विभाग के लिए नाबार्ड ने 2000 करोड़ रुपये जारी किए हैं, और विश्व बैंक से दूसरे चरण के काम के लिए 380 करोड़ रुपये का कर्ज मंजूर किया है। इसके बाद भी राज्य का वित्त विभाग 950 करोड़ रुपये के बकाया बिलों का भुगतान करने में विलंब कर रहा है।
इस महत्वाकांक्षी परियोजना के लिए आंध्र सरकार ने दूसरे चरण में 4,535 करोड़ रुपये की लागत से 16,493 से अधिक स्कूलों के नवीनीकरण की शुरुआत की है। सीएम रेड्डी ने 16 अगस्त 2021 को दूसरे चरण के कार्यों का शुभारंभ किया था। इन्हें अगस्त 2022 तक पूरा किया जाना था।