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DevBhoomi Insider Desk
• Mon, 16 Jan 2023 5:06 pm IST


Startup: कभी बेचते थे पेन, आज हैं करोड़ों की कंपनी के मालिक, जानिए Big Boy Toys के फाउंडर का संघर्ष


आज इस स्टोरी में हम एक ऐसे शख्स के बारे में बात करेंगे जो एक समय में सड़कों पर पेन बेचने का काम करते थे। लेकिन अपनी मेहनत के दम पर आज करोड़ों की कंपनी के मालिक बन गए हैं। इनका नाम है जतिन आहूजा है। ये Big boy Toyz के मालिक हैं। जतिन ने अपनी 10 साल की उम्र में अपने दोस्त को पेन बेचकर पैसे कमाने शुरू किये थे लेकिन आज इनके पास BMW, Range Rover, Lamborghini जैसी कई लग्जरी गाड़ियों का काफिला है। बिग बॉय टॉयज़ के संस्थापक जतिन आहूजा गुरुग्राम के रहने वाले हैं। इन्होंने बेहद कम उम्र में प्रॉफिट कमाना सीख लिया था। जतिन महज 23 साल की उम्र में बिग बॉय टॉयज रिटेल ब्रांड के मालिक बन गये थे। इस कंपनी के शोरूम्स दिल्ली, गुरुग्राम, मुंबई, और हैदराबाद में हैं।  Big Boy Toyz ब्रांड used car को लग्जरी कार में बदलने का काम करता है।  ये अपने काम से कस्टमर को अपना बना लेता है यानी इनका काम कस्टमर्स को काफी पसंद आता है। चार्टर्ड अकाउंटेंट के घर में जन्मे जतिन बचपन से ही बाकी बच्चों से अलग थे। वे हमेशा अपनी उम्र के बच्चों से ज्यादा और ऊंची सोच रखते थे। यानी अपनी उम्र के मुकाबले इनकी सोच बड़ी थी।  जतिन को बचपन से ही कारों का बेहद शौक था। वे बताते हैं कि जब छठी कक्षा में थे तभी उन्हें अपनी कार कंपनी बनाने का आइडिया आया था। अपने इसी सपने को सच करने के लिए उन्होंने महज 17 साल की उम्र में ही बिजनेस वेंचर खड़ा कर दिया था। जतिन आहूजा ने 17 साल की उम्र में ही मर्सिडीज एस क्लास खरीद ली थी, इतनी कम उम्र में ये बड़ा मोड़ था। इसके बाद उन्होंने इस कार को रिफर्बिश्ड किया और बहुत अच्छे प्रॉफिट के साथ बेंच दिया। जतिन आहूजा ने मैकेनिकल इंजीनियरिंग की डिग्री करने के बाद दिल्ली यूनिवर्सिटी से MBA की डिग्री हासिल की है। इन्होंने big boy toyz को अपने पिता से ₹70,000 रूपये लेकर शुरू किया था। इसी पैसे से साल 2009 में उन्होंने दिल्ली में स्टूडियो खोला था। आज इस स्टूडियो से 150 से अधिक लोगों का घर चलता है।
जतिन आहूजा ने अपनी पहली कार डील वर्ष 2005 में की, जो काफी दिलचस्प रही क्योंकि इस साल में मुंबई बाढ़ में खराब हुई एक मर्सिडीज को सही करके बेचा था। इस कार को रिपेयर करके इन्होनें 25 लाख रुपये में बेचा था। जतिन ने साल 2006 में फैंसी मोबाइल नंबर की मांग को देखते हुए 1200 सिम कार्ड्स को खरीद लिया था, जिनकी सीरिज 99999 की थी। इस फैंसी नंबर की मांग ने उन्हें 24  लाख  रूपये का बिजनेस दिया था और 2007 तक इनका मुनाफा 2 करोड़ रूपये तक पहुंच गया था। जतिन  ने प्री-ओन्ड लग्जरी कारों के काम में उस समय कदम रखा जब बड़ी-बड़ी कार कंपनियां भारतीय मार्केट में आने से घबरा रही थी, लेकिन इनका विश्वास और मेहनत रंग लाया और उन्होंने  बड़ी कंपनी खड़ी कर दी।