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DevBhoomi Insider Desk
• Tue, 14 Mar 2023 11:27 am IST

नेशनल

सुप्रीम कोर्ट का फरमान, भोपाल गैंस कांड के पीड़ितों को नहीं मिलेगा ज्यादा मुआवजा...


सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र की उस क्यूरेटिव पिटीशन को खारिज कर दिया है, जिसमें सरकार ने 1984 के भोपाल गैंस कांड के पीड़ितों के लिए मुआवजा बढ़ाने की मांग की थी। 

गौरतलब है कि, यूनियन कार्बाइड से जुड़े इस मामले में 2010 में ही क्यूरेटिव पिटीशन दाखिल हुई थी। इस पर सुप्रीम कोर्ट ने जनवरी में ही फैसला सुरक्षित रख लिया। केंद्र सरकार ने अपनी याचिका में कहा था कि, 1989 में जब सुप्रीम कोर्ट ने हर्जाना तय किया था, तब 2.05 लाख पीड़ितों को ध्यान में रखा गया था। 

इन सालों में गैस पीड़ितों की संख्या ढाई गुना से बढ़कर 5.74 लाख से ज्यादा हो चुकी है। ऐसे में हर्जाना भी बढ़ना चाहिए। अगर सुप्रीम कोर्ट हर्जाना बढ़ने को मान जाता है, तो इसका लाभ भोपाल के हजारों गैस पीड़ितों को भी मिलेगा। बताते चलें कि, मामला यह है कि, भोपाल में 2-3 दिसंबर की रात को यूनियन कार्बाइड की फैक्ट्री से मिथाइल आइसोसाइनेट गैस का रिसाव हुआ था। इससे सैकड़ों मौतें हुई थी। 

हादसे के 39 साल बाद सुप्रीम कोर्ट की जस्टिस एसके कौल की संविधान पीठ ने 1989 में तय किए गए 725 करोड़ रुपये हर्जाने के अतिरिक्त 675.96 करोड़ रुपये हर्जाना दिए जाने की याचिका पर यह फैसला दिया है। यह याचिका केंद्र सरकार ने दिसंबर 2010 में लगाई थी और फैसला 12 साल बाद आया है। इससे पहले सुप्रीम कोर्ट में डाउ केमिकल्स ने साफ किया था कि, वह एक रुपया भी और देने को तैयार नहीं है।