देहरादून: जिले के आरटीआई एक्टिविस्ट विजय वर्धन डंडरियाल ने आरटीओ सुनील शर्मा पर करोड़ों रुपए के राजस्व को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया है, जबकि आरटीओ सुनील शर्मा ने इन आरोपों को निराधार बताते हुए स्पष्टीकरण मांगा है. साथ ही किस आधार पर आरोप लगाए जा रहे हैं. इसका भी प्रमाण मांगा है. इसके अलावा उन्होंने आरटीआई एक्टिविस्ट विजय वर्धन डंडरियाल को इस संबंध में लीगल नोटिस भी जारी कर दिया है.
आरटीआई एक्टिविस्ट विजय वर्धन डंडरियाल ने कहा कि जुलाई 2022 में परिवहन विभाग के दो संभागों के आपस में विलय के बाद वर्तमान में देहरादून विकासनगर और डाकपत्थर में अंतरराज्य मार्गों पर 116 संचालित बसों के 81 फेरों की जगह 464 फेरे कराए जा रहे हैं, जबकि टैक्स केवल 81 फेरों का ही जमा किया जाता है. यही नहीं आरटीए की बैठक में यह फैसला लिया गया था कि इस मार्ग पर चलाई जा रही बसों में जीपीएस भी लगाया जाएगा, लेकिन अब तक किसी भी बस में जीपीएस नहीं लगाया है.
20 जून 2023 को आरटीए की बैठक में भी जीपीएस सिस्टम को न रखने के बावजूद भी प्रेम नगर और पलवल मार्ग की सिटी बसों में जीपीएस सिस्टम लगाने के आदेश जारी किए गए, लेकिन जिन बसों द्वारा करोड़ों रुपए प्रति महीने टैक्स चोरी की जा रही है, उन बसों पर जीपीएस सिस्टम लगाने के आदेश अब तक जारी नहीं किए गए हैं. इन वाहनों की टैक्स की शिकायत की जांच वित्त मंत्रालय से जिलाधिकारी के यहां साल 2022 में ही आई थी, लेकिन आरटीओ देहरादून द्वारा इस मामले में जांच नहीं की जा रही है. आरटीआई एक्टिविस्ट विजय वर्धन डंडरियाल द्वारा मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से भी शिकायत की गई है कि किस तरह से देहरादून,विकासनगर,डाकपत्थर और अंतरराज्य मार्गों की बसों के वाहन स्वामी उत्तराखंड राज्य में करोड़ों रुपए की टैक्स चोरी हर महीने कर रहे हैं.