लखनऊ: परिषदीय स्कूलों के बच्चों में लर्निंग आउटकम (सीखने की प्रक्रिया) को बढ़ावा देने के लिए योगी सरकार कई तरह के प्रयोग कर रही है। इसके तहत अब शिक्षकों को विभिन्न गतिविधियों के जरिए छात्रों के साथ आत्मीय संबंध बनाने के लिए प्रेरित किया जा रहा है।
शिक्षकों से छात्रों के साथ दोस्ताना व्यवहार करने और उनके
साथ विभिन्न गतिविधियों में सहभागी बनने को कहा गया है, जिससे वो अनुकूल
माहौल में बेहतर प्रदर्शन कर सकें। इसके लिए बकायदा टाइमलाइन भी तय की गई है, जिसमें शिक्षक छात्रों
के साथ भ्रमण के अलावा विभिन्न खेलकूद और अन्य आयोजनों के माध्यम से उनकी सीखने की
प्रक्रिया को और बेहतर करेंगे। इस टाइमलाइन के अनुसार, शिक्षकों को गतिविधियों का आयोजन करने के साथ ही प्रत्येक
शुक्रवार तक इसके फोटोग्राफ्स को भी प्रेरणा एप पर अपलोड करने के निर्देश दिए गए
हैं।
गतिविधि कैलेंडर का करना होगा अनुसरण
महानिदेशक स्कूल शिक्षा विजय किरण आनंद ने आदेश में कहा है
कि परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों को गतिविधि कैलेंडर के हिसाब से विद्यार्थियों के
साथ आत्मीय संबंध को प्रगाढ़ करना है। गतिविधि कैलेंडर के प्रभावी क्रियान्वयन के
लिए कुछ निर्दश भी जारी किए गए हैं। इसके अंतर्गत शिक्षक संकुल की बैठकों में इन
गतिविधियों के आयोजन पर चर्चा करते हुए आवश्यक्तानुसार प्रस्तुतिकरण किया जाए।
एसआरजी, एआरपी, डायट मेंटर
द्वारा प्रत्येक सप्ताह विद्यालय पर्यवेक्षण के दौरान प्रेषित गतिविधियों के
अनुसार शिक्षण कार्य कराने के लिए प्रेरित एवं प्रोत्साहित करते हुए सहयोग भी किया
जाए। इसकी मॉनीटरिंग भी बेहद आवश्यक है। इसलिए प्रेरणा एक्टिविटी मॉड्यूल में
अनिवार्य रूप से प्रधानाध्यापकों एवं शिक्षकों द्वारा गतिविधियों को अपलोड किया
जाए। शिक्षकों को इस गतिविधि के लिए सम्मानित किए जाने का भी प्रावधान है। इन सभी
गतिविधियों को विद्यालयवार,
विकासखंडवार एवं
जनपदवार समीक्षा खंड शिक्षा अधिकारी एवं जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी के माध्यम से
की जाएगी।
बढ़ाई जाएगी कांप्टीशन की भावना
शिक्षक और छात्रों के बीच अच्छे संबंधों के लिए चलाए जा रहे
इस अभियान के लिए गतिविधि कैलेंडर जारी किया गया है। इस कैलेंडर के अनुसार फरवरी
के तीसरे सप्ताह में शिक्षकों को भ्रमण कार्यक्रम का आयोजन करना होगा। इसके माध्यम
से छात्रों को विद्यालय के आसपास के खेत, डाकघर, कारखाने एवं ऐतिहासिक स्थलों का भ्रमण कराया जाएगा और इसके
विषय में जानकारी दी जाएगी। इसी तरह चौथे सप्ताह में टीम बिल्डिंग एक्टिविटी और
कांप्टीशन कराया जाएगा। इसमें बच्चों को टीमों में बांटकर स्थानीय खेल जैसे पिट्ठू, कबड्डी, क्रिकेट, कैरम, बैडमिंटन आदि
खेलों का आयोजन होगा।
मार्च के शुरुआती सप्ताह में सिचुएशन बेस्ड एक्टिविटी
आयोजित की जाएगी, जिसमें बच्चों को
एक स्थिति (सिचुएशन) प्रदान करते हुए उनकी समस्याओं को रचनात्मक रूप से हल करने और
उनसे प्रश्न पूछने की जिम्मेदारी होगी। जैसे अपने आसपास के वातावरण को कैसे स्वच्छ
रखा जाए, इत्यादि। मार्च
के दूसरे सप्ताह में आउटडोर लर्निंग एक्टिविटी कराई जाएगी। इसमें कक्षा के बाहर
गोला बनाकर छात्रों को व्यवस्थित करते हुए गतिविधि आधारित पाठ का संचालन किया
जाएगा। उदाहरण के तौर पर कहानी या कविता सुनाकर जैसे रिंगा-रिंगा रोसेज कविता
इत्यादि के माध्यम से कक्षा चलाई जाएगी।
स्पीकिंग और प्रेजेंटेशन पर भी किया जाएगा काम
कैलेंडर के अनुसार मार्च के तीसरे और चौथे सप्ताह भी
शिक्षकों को गतिविधियों का संचालन करना होगा। तीसरे हफ्ते क्रिएटिविटी बेस्ड
एक्टिविटी होगी। इसमें छात्र को 5-6 शब्द देकर इन शब्दों का प्रयोग करते हुए एक ऐसी कहानी या
कविता लिखवाई जाएगी जिसमें उसकी रचनात्मकता प्रदर्शित हो सके। इसी तरह मार्च के
आखिरी सप्ताह में स्पीकिंग बेस्ड एक्टिविटी होगी। प्रत्येक छात्र को कक्षा में
बोलने एवं प्रस्तुतिकरण करने हेतु प्रेरित किया जाएगा। जैसे वाद-विवाद प्रतियोगिता
आयोजित करना। उदाहरण के तौर पर टीवी और मोबाइल का प्रयोग करने के गुण एवं दोष पर
चर्चा की जाए, जिसमें एक छात्र
द्वारा उसके गुणों के संबंध में एवं दूसरे छात्र द्वारा उसके दोषों पर चर्चा की
जाए।