अंतरजातीय विवाह करने के बाद अनुसूचित जाति के युवक की हत्या मामले में डीआईजी ने पुलिस कार्रवाई की जांच के निर्देश दिए हैं। डीआईजी की निगरानी में एसआईटी की टीम मामले के मुख्य बिंदुओं पर छानबीन करेगी। इस दौरान कुछ पुलिसकर्मियों के भी नपने की आशंका जताई जा रही है।अल्मोड़ा के सल्ट क्षेत्र के पनवाद्यौखन गांव निवासी जगदीश चंद्र (38) ने 21 अगस्त को भिकियासैंण में सिनार मोटर मार्ग पर स्थित बेल्टी गांव निवासी गीता उर्फ गुड्डी से प्रेम विवाह किया था। शादी गैराड़ मंदिर में हुई थी। आरोप है कि इस शादी से गीता की मां भावना देवी, सौतेले पिता जोगा सिंह और सौतेला भाई गोविंद सिंह बौखलाए हुए थे। इसी रंजिश में आकर गीता के सौतेले पिता और भाई ने पहले जगदीश चंद्र का अपहरण किया और उसके बाद हत्या कर दी।
अपहरण की सूचना पर पुलिस ने छानबीन शुरू की तो पुलिस ने रात दस बजे करीब सिनार मोटर मार्ग के पास खड़ी एक कार की छानबीन की तो उसमें गीता की मां और सौतेले पिता और भाई बैठे थे। साथ ही कार में जगदीश का शव भी पड़ा हुआ था। पुलिस ने तीनों को गिरफ्तार भी कर लिया।वहीं मंगलवार को डीआईजी डॉ. नीलेश आनंद भरणे ने बताया कि छानबीन के दौरान सामने आया था कि वारदात से कुछ दिन पहले गीता एसएसपी अल्मोड़ा के कार्यालय पहुंची थी और वहां उसने सुरक्षा को लेकर प्रार्थना पत्र भी दिया था। वहीं अभी तक की जांच में सामने आया है कि गीता कार्यालय तो पहुंची थी लेकिन बिना एसएसपी से मिले ही प्रार्थना पत्र देकर चली गई थी। संदेहास्पद होने पर अब मामले में एसआईटी की टीम को जांच सौंपी गई है।