करीब दो माह से वेतन और नौकरी बहाल करने की मांग को लेकर धरना-प्रदर्शन कर रहे संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की शासन-प्रशासन ने कोई सुध नहीं ली है। उन्होंने शासन-प्रशासन गुमराह करने का आरोप लगाते हुए कहा आश्वासन देने तक ही सीमित है। इतना समय बीतने के बावजूद उन्हें नौकरी तो दूर अपना मेहनताना तक नहीं मिल सका है।
सोमवार को संविदा स्वास्थ्य कर्मी टकाना स्थित रामलीला मैदान पहुंचे। इस दौरान उन्होंने शासन-प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी करते हुए प्रदर्शन किया और बाद में भूख हड़ताल पर बैठ गए। कर्मियों ने कहा कोरोना की विपरीत परिस्थतियों में चार माह तक निरंतर काम करने के बावजूद उन्हें वेतन के लिए विभागों के चक्कर लगाने को मजबूर किया जा रहा है। कहा लंबे समय से वेतन और नौकरी बहाली की मांग को लेकर प्रशासनिक अधिकारी से लेकर जनप्रतिनिधियों की चौखट तक पहुंच चुके हैं, लेकिन उन्हें राहत नहीं मिली। कहा बीते सितंबर माह के दौरान प्रशासनिक अधिकारियों ने जल्द ही वेतन जारी होने की बात कही थी। लेकिन दो माह बाद भी वेतन नहीं मिला है। कहा वेतन न मिलने से उन्हें आर्थिक संकट से जूझना पड़ रहा है। लेकिन उनकी परेशानी देखने वाला कोई नहीं है।