नगर निगम के चंद्रेश्वरनगर वार्ड नंबर एक में बने शौचालयों में कई वर्षों से ताले लटके हैं। गौर करने वाली बात यह है कि इनमे से कुछ शौचालय संचालित हो रहे हैं, लेकिन उनमें भी पानी और बिजली की सुविधा नहीं है। ऐसे में शौच करने जा रहे पर्यटकों और स्थानीय लोगों को परेशानी हो रही है।
स्वच्छता और शौचालय के नाम पर केंद्र और प्रदेश सरकार ने करोड़ों रुपये खर्च कर दिए हैं। कुंभ मेले के दृष्टिगत प्रदेश और केंद्र सरकार का स्वच्छता पर अधिक फोकस है, लेकिन नगर निगम केंद्र और प्रदेश सरकार की योजना को पलीता लगाने का काम कर रहा है। गंगा घाटों, तटों और आस्था पथ पर घूमने वाले पर्यटकों और स्थानीय लोगों को इसका लाभ मिले, इसके लिए पूर्व नगरपालिका अध्यक्ष दीप शर्मा ने चंद्रेश्वरनगर के वार्ड नंबर एक में जिला योजना पर्यटन निधि से जून 2016 में यहां पर शौचालय का लोकार्पण किया था। कुछ महीने यह शौचालय चला, लेकिन बाद में इसमें ताला लटक गया। वहीं दूसरी ओर इसके समीप ही नगर पालिका के पूर्व अध्यक्ष ने अवस्थापना विकास निधि के तहत वर्ष 2010 में यहां पर शौचालय का निर्माण किया था, लेकिन उस शौचालय में भी पानी और बिजली की सुविधा नहीं है। शौच करने आ रहे लोगों को सड़क किनारे लगे हैंडपंप का सहारा लेना पड़ रहा है।