देहरादून : प्रदेश के पर्वतीय क्षेत्रों में नासूर बन चुके संवेदनशील भूस्खलन जोन के उपचार के लिए केंद्र सरकार ने बड़ी सौगात दी है। चारधाम ऑल वेदर रोड परियोजना में चिह्नित किए गए 155 क्रॉनिक लैंडस्लाइड जोन में से 89 जोन के लिए 971.68 करोड़ रुपये जारी किए गए हैं।लोनिवि के मुख्य अभियंता दयानंद ने बताया कि सभी नेशनल हाईवे पर 155 संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित किए गए हैं। इनके उपचार के लिए डीपीआर बनाने का काम नोडल एजेंसी के तौर पर टीएचडीसी को सौंपा गया है। इनमें से अभी तक 107 की डीपीआर प्राप्त हो गई है, जबकि 89 के लिए केंद्र सरकार की ओर से पैसा जारी कर दिया गया है।
पर्वतीय क्षेत्रों में इन हाईवे पर होगा काम
ऋषिकेश से रुद्रप्रयाग के बीच (एनएच 07) : कुल 39 संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित, 28 की डीपीआर तैयार, 11 के लिए पैसा जारी
रुद्रप्रयाग से गौरीकुंड के बीच (एनएच 107) : कुल 21 संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित, 10 की डीपीआर तैयार, 10 के लिए पैसा जारी
चमोली से कुंड के बीच (एचन 107-ए) : कुल छह संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित
धरासूबैंड से फूलचट्टी के बीच (एनएच 134) : कुल 15 संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित, आठ की डीपीआर तैयार, आठ के लिए पैसा जारी
हरबर्टपुर से बडकोट बैंड के बीच (एचन 507) : कुल नौ संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित
कौडिया कोटद्वार से सतपुली श्रीनगर के बीच (एनएच 534) : कुल दो संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित
जौलीकोट से कर्णप्रयाग के बीच (एचएच 109) : कुल दो संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित
टनकपुर से पिथौरागढ़ के बीच (एचनएच 09) : कुल 61 संवेदनशील भूस्खलन क्षेत्र चिह्नित, 61 की डीपीआर तैयार, 60 के लिए पैसा जारी