महाराष्ट्र के सांगली जिले में कर्ज में डूबने से 9 लोगों के सामूहिक खुदकुशी के मामले को पुलिस से सुलझा दिया है। पुलिस के मुताबिक, परिवार ने सामूहिक आत्महत्या नहीं की थी बल्कि तांत्रिक अब्बास मोहम्मद अली ने इस सबकी हत्या की। तांत्रिक ने परिवार के लोगों को बारी-बारी से चाय पिलाई और सबकी मौत हो गयी।
सांगली में कथित सामूहिक हत्या मामले में पुलिस ने तांत्रिक अब्बास और उसके ड्राइवर को गिरफ्तार किया है। तांत्रिक अब्बास और उसके सहयोगी ड्राइवर ने 20 जून को म्हैसल गांव में दो भाइयों के परिवार के खात्मे की इस जघन्य वारदात को अंजाम दिया था। हालांकि पहले कर्ज में डूबे होने से सामूहिक खुदकुशी की आशंका जताई जा रही थी।
कोल्हापुर रेंज के आईजी मनोज कुमार लोहिया ने बताया कि, तांत्रिक अब्बास ने डॉ. माणिक वनमोरे और पोपट वनमोरे को उनके लिए गुप्त धन खोजने का झांसा दिया था।
यह झांसा देकर उसने दोनों भाइयों से करीब 1 करोड़ रुपये ऐंठ लिए थे। इसके बाद तांत्रिक ने धन खोजने के लिए खूब ड्रामेबाजी की और जब वह विफल रहा तो वनमोरे बंधु पैसा लौटाने के लिए उस पर दबाव डालने लगे। तांत्रिक रुपये नहीं लौटाना चाहता था, इसलिए उसने वनमोरे बंधुओं के पूरे परिवार को खत्म करने की साजिश रची और खौफनाक वारदात को अंजाम दे दिया।
पुलिस के अनुसार मुख्य आरोपी अब्बास मोहम्मद अली बागवान 19 जून को ड्राइवर धीरज चंद्रकांत सुरवशे के साथ म्हैसल गांव में वनमोरे बंधुओं के घर पहुंचा। वनमोरे के घर पर उसने छिपे खजाने को खोजने के लिए तंत्र-मंत्र शुरू किया। तांत्रिक ने वनमोरे परिवार के लोगों को उनके घरों की छत पर भेजा। इसके बाद बारी-बारी से उन्हें नीचे बुलाया और उसके द्वारा तैयार चाय पीने के लिए कहा।पुलिस का दावा है कि चाय में कोई जहरीला पदार्थ मिला हुआ था। जिसे पीने के बाद वनमोरे परिवार के लोग बेहोश होकर दम तोड़ दिया।