तमिलनाडु में राजभवन में चार जनवरी को आयोजित एक कार्यक्रम में राज्यपाल ने तमिलनाडु को तमिझगम कह दिया था। जिसपर विवाद पैदा हो गया था।
वहीं अब मामले को तूल पकड़ता देख राज्यपाल ने एक पत्र जारी कर सफाई पेश की है। राज्यपाल ने पत्र में लिखा है कि, चार जनवरी को राजभवन में काश-तमिल संगमम के स्वयंसेवकों को सम्मानित करने के लिए आयोजित एक कार्यक्रम में ऐतिहासिक सांस्कृतिक जुड़ाव पर विचार करते हुए, मैंने 'तमिझगम' का उल्लेख किया। क्योंकि ये इतिहास से जुड़ा मामला था और उस समय कोई तमिलनाडु नहीं था। इसलिए, ऐतिहासिक-सांस्कृतिक संदर्भ में, मैंने 'तमिझगम' का उल्लेख किया था।
दरअसल, राज्यपाल ने विधानसभा के अपने अभिभाषण में तमिलनाडु राज्य को तमिझगम कहकर संबोधित किया था। जिसके बाद उनके इस बयान पर सत्तारूढ पार्टी डीएमके और उनके सहयोगी दल कांग्रेस और विदुथलाई चिरुथिगाल काची ने विरोध करते हुए हंगामा शुरू कर दिया था। राज्यपाल को गेट आउट के पोस्टर भी दिखाए गए थे।