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• Thu, 10 Jun 2021 8:54 pm IST


सामाजिक जागरूकता से ही कसा जा सकता है नशे पर शिकंजा... मिगलानी


हरिद्वार। भारतीय जागरूकता समिति के अध्यक्ष अधिवक्ता ललित मिगलानी ने युवाओ को सचेत करते हुए कहा कि नशे की लत का शिकार हो रहे युवा वर्ग को संभालना एक बड़ी चुनौती बनता जा रहा है। छोटे-छोटे लालच में युवा नशे के आदि हो रहे हैं। नशे के आदि युवा अपना जीवन बर्बाद कर रहे हैं। नशा कारोबारी युवाओं की कमजोरी का फायदा उठाकर उन्हें नशे की दलदल में धकेल रहे हैं। मिगलानी ने युवाओं को सचेत करते हुए कहा कि नशा मानसिक, शारीरिक रूप कमजारे बनाने के साथ आर्थिक नुकसान भी पहुंचाता है। नशे की लत का असर परिवार पर भी पड़ता है। नशे की लत की वजह परिवार व शरीर दोनों बर्बाद हो जाते हैं। जिसकी भरपाई कभी नहीं हो पाती है। जो युवा नशे के कारोबार में फंस जाते हैं वो कानून के रूप में अपराधी होते है। किसी भी नशे को खरीदना एवं बेचना कानून की नजर में अपराध है। जिसकी सजा दस साल से लेकर उम्र कैद तक होती है। नशा बेचने का अपराध समाज के विरूद्ध अपराधांे में गिना जाता है। जो सामाजिक द्रष्टिकोण से भी अच्छा नहीं है। मिगलानी ने समाज के सभी वर्गो से अपील की कि युवाओ को नशे के दुष्परिणामों के बारे में जागरूक करें। ताकि युवा वर्ग को नशे की लत से बचाया जा सके और नशे के कारोबार को जड़ से खत्म किया जा सके। ताकि आने वाली पीढ़ी को एक स्वस्थ वातावरण मिल सके।