चम्पावत: कृषि विज्ञान केंद्र लोहाघाट में पशुपालकों को वैज्ञानिक पद्धति से बकरी पालन का प्रशिक्षण दिया गया। इस दौरान क्षेत्र के कई पशुपालक और किसान मौजूद रहे। केवि के लोहाघाट के प्रभारी अधिकारी डॉ. एमपी सिंह ने शिविर का शुभारंभ किया। उन्होंने कहा आजकल बेरोजगार युवा बकरी पालन, मुर्गी पालन, कृषि और मत्यस्य पालन कर रहे हैं। लेकिन जितना लाभ उनको मिलना चाहिए वह नहीं मिल पा रहा है। डॉ. सचिन पंत ने कहा उत्तराखंड के पर्वतीय क्षेत्रों में बकरी की उन्नतशील प्रजातियों में जमुनापारी, बरबरी, पतजा, बीटल, सिरोही आदि पालनी चाहिए। उन्होंने बकरियों को स्वस्थ्य रखने, खानपान आदि के बारे में विस्तृत रूप से बताया। फकीर चंद ने पशुपालकों और किसानों को क्षमता के विकास के बारे में प्रशिक्षण दिया।