देहरादून : इस साल विरासत में कई प्रकार के स्टॉल आए हैं। कोई अपनी संस्कृति से संबंधित कपड़े बेच रहा है, कोई खाना तो कोई मिट्टी से बने उत्पाद। इसी प्रकार पहली बार विरासत में एक स्टाॅल अम्रदा के नाम से भी लगा है जो गाय के शुद्ध दूध से बने उत्पादों का प्रचार एवं विक्रय कर रहे हैं। युवा उद्यमी उर्वशी उनियाल इस स्टॉल को चलाती हैं। इनके उत्पाद अम्रदा ब्रांड के नाम से उपलब्ध हैं जो कि एक संस्कृत का शब्द है। उर्वशी उनियाल ने बताया कि हालांकि इस बिजनेस को प्रारंभ किए हुए डेढ़ साल हो चुके हैं किन्तु वे सक्रिय रूप से पिछले 6 महीने से इस व्यवसाय को चला रही हैं। उन्होंने बताया कि इससे पहले उनके परिजन इस व्यवसाय को चलाते थे और वे एक प्रतिष्ठित अंग्रेजी माध्यम के स्कूल में अध्यापिका थीं। गायों से प्रेम तथा खेतों, किसानों और प्राकृतिक उत्पादों के करीब रहने की ललक तथा व्यवसाय को और आगे ले जाने के उद्देश्य से वे भी अपनी जॉब छोड़ कर इस व्यवसाय में आ गईं। उर्वशी ने बताया कि उन्होंने इस व्यवसाय को ज्वाइन करने से पहले राष्ट्रीय डेयरी अनुसंधान संस्थान (NDRI) से ट्रेनिंग ली और व्यवसाय से जुड़ते ही सबसे यह नियम बनाया कि अम्रदा के उत्पादों को ग्राहकों तक पहुंचाने से पहले सभी उत्पादों की व्यापक टेस्टिंग की जाएगी। अम्रदा में वे साइंटिफिक मेथड पर जोर देते हैं जिससे कि उन्हें दूध की शुद्धता और गुणवत्ता का सही सही पता चल जाता है। उन्होंने बताया कि वर्तमान में वे दो गांवों के किसानों से जुड़े हुए हैं और उनसे दूध लेते हैं। साथ ही वे किसानों को गायों के खाने, उनकी हाइजीन और रखरखाव के बारे में निरंतर मार्गदर्शन देते रहते हैं। उर्वशी ने बताया कि उनके पास 70 से 80 गायें हैं जिसमें से कि 17 गायें उन्होंने अपने फार्महाउस में रखी हैं। उनके दूध, घी, पनीर आदि उत्पाद देहरादून के काफी बड़े क्षेत्र में सप्लाई किए जाते हैं। कहा की इसके साथ ही हमारे दूध के जो उपयोगकर्ता हैं उनमें लगभग 20 प्रतिशत 5 साल से छोटे बच्चे तथा 25 प्रतिशत 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोग हैं। उर्वशी ने बताया कि निकट भविष्य में वे अपने कई नए प्रोडक्ट लॉन्च करने वाली हैं। जैसे-जैसे व्यवसाय आगे बढ़ेगा वैसे-वैसे वे अपने नए नए प्रोडक्ट लेकर आएंगे और अपने बिजनेस को आगे बढ़ाएगें। उन्होंने कहा कि उनका मुख्य उद्देश्य लोगों को शुद्ध एवं गुणवत्तापूर्ण दुग्ध उत्पाद उपलब्ध कराना है।