पाल के तारा एयरलाइंस के विमान 9 NAET का संपर्क टूट गया है। यह विमान पोखरा से उड़ान भरकर जोमसोम जा रहा था। विमान में चालक दल समेत 22 लोग सवार थे। इसमें चार भारतीय और 3 जापानी नागरिक शामिल थे। विमान के लापता होते ही किसी अनहोनी की आशंका भी गहराने लगी है।
लेकिन आपको बता दें कि, ये पहली बार नहीं है। इससे पहले भी नेपाल में कई विमान हादसे हुए हैं। पहाड़ों के देश नेपाल को बड़ी विमान दुर्घटनाओं के लिए भी जाना जाता है। 2010 से अब तक यहां करीब सात बड़े विमान हादसे हो चुके हैं। इन हादसों में कुल 166 लोगों ने अपनी जान गंवा दी है। दरअसल, यहां खराब मौसम और पहाड़ों के बीच बनीं कठिन हवाई पट्टी इन हादसों का बड़ा कारण बनती हैं।
आज से पहले 2018 में यूएस-बांग्ला एयरलाइंस फ्लाइट 211 क्रैश हो गया था। ये विमान ढाका से काठमांडू जा रहा था। नेपाल के त्रिभुवन अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर उतरते समय यह दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इस हादसे में 51 लोगों की मौत हो गई थी। विमान में 71 लोग सवार थे। इसके दो साल पहले 24 फरवरी 2016 को तारा एयर फ्लाइट 193 क्रैश हो गयी थी। ये विमान पोखरा से जोमसोम के लिए उड़ान भरने जा रहा था। और टेकऑफ के महज आठ मिनट बाद ये विमान लापता हो गया था। इसके बाद विमान का मलबा दाना गांव के पास पाया गया। और विमान में सवार 23 लोगों के शव बरामद हुए।
वहीं साल 2012 में भी सीता एयर फ्लाइट 601 क्रैश हो गया था। इस विमान हादसे में 19 लोगों की मौत हो गई थी। विमान ने काठमांडू से उड़ान भरी थी। लेकिन तकनीकी खराबी के कारण इसकी आपाकालीन लैंडिंग करानी पड़ी थी। इसी दौरान हादसे में सभी की मौत हो गई। इसके साथ ही 2012 में भी अग्नि एयर डोर्नियर 228 क्रैश हो गया था। इस विमान ने पोखरा से जोमसोम के लिए उड़ान भरी थी। जोमसोम हवाई अड्डे के पास पहुंचे ही विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया था। इसमें 21 लोग सवार थे। हादसे में पायलटों समेत 15 यात्रियों की मौत हो गई थी।
इससे पहले 25 सितंबर 2011 बुद्ध एयर फ्लाइट 103 क्रैश हो गया था। जिससे इसमें सवार सभी 22 लोग, जिनमें 10 भारतीय नागरिक समेत सभी लोगों की मौत हो गयी थी। वहीं 15 दिसंबर 2010 में तारा एयर ट्विन ओटर क्रैश हो गया था। टेक-ऑफ के तुरंत बाद विमान दुर्घटना का शिकार हो गया। चालक दल के तीन सदस्यों समेत जहाज पर सवार सभी 22 लोग मारे गए। और 2010 अग्नि एयर फ्लाइट 101 क्रैश हो गया था। बताया गया कि, अग्नि एयर फ्लाइट 101 के विमान का संपर्क टूट गया था। यह विमान काठमांडू से उड़ा था। उड़ान भरने के 22 मिनट बाद विमान दुर्घटनाग्रस्त हो गया। इसमें सवार सभी 14 लोगों की मौत हो गई।