गर्मी से पहले ही किसानों के सामने सिंचाई संकट खड़ा हो गया है. वजह ये है कि नैनीताल जनपद के 60 छोटी-बड़ी नहरें क्षतिग्रस्त हो चुकी हैं, जिसके चलते किसानों के सामने सिंचाई संकट बना हुआ है. यही नहीं, नहरें क्षतिग्रस्त होने के चलते नहरों का पानी सड़कों पर आ रहा है. वहीं, विभाग की ओर से क्षतिग्रस्त नहरों के पुनर्निर्माण का कार्य शुरू करने की बात कही जा रही है.विभाग के मुताबिक, नैनीताल जनपद में सिंचाई के लिए 284 छोटी-बड़ी नहरें हैं, जिससे किसानों की फसलों की सिंचाई होती है. लेकिन 2 साल पहले आई भारी आपदा के चलते बहुत सी नहरें क्षतिग्रस्त हो गई थीं, जो अभी तक नहीं बन पाई हैं. मुख्य अभियंता सिंचाई विभाग संजय शुक्ला बताते हैं कि वर्तमान समय में 40 नहरें ऐसी हैं जो क्षतिग्रस्त हैं. इन नहरों के पुनर्निर्माण के लिए बजट मिल गया है और पुनर्निर्माण का कार्य चल रहा है. जबकि 20 नहरें ऐसी हैं जो पूरी तरह से बंद हो चुकी हैं और विभाग द्वारा इनको परित्याग घोषित कर दिया गया है.