Read in App


• Sat, 4 May 2024 11:15 am IST


ये 5 अवरोध हटाएं खुशी के गीत गाएं


आपकी जिंदगी में अगर खुशी नहीं है या कम है, तो उसकी आपके भीतर मौजूद कुछ अवरोध हैं। इन्हें अगर हटा देंगे, तो आपके लिए हर लम्हा खुश रहना संभव हो सकेगा। लेकिन इन अवरोधों तक पहुंचने से पहले जरा खुशी और आनंद के बीच अंतर को समझ लेते हैं। सबसे पहले तो यह जान लीजिए कि आप हर क्षण खुश नहीं रह सकते। खुशी एक क्षणभंगुर चीज है। कुछ हुआ और आपको खुशी महसूस हुई। किसी चीज में कामयाबी मिली, कोई अच्छी खबर आई कहीं से जिससे आपको फायदा हुआ हो, तो आप खुश होंगे। खुशी उत्साह और प्रसन्नता का भाव पैदा करती है जबकि अगर आपका मन शांत है, आप अपने जीवन को समग्रता में देखकर अच्छा महसूस करते हुए जी रहे हैं, तो वह आनंद में रहना है। भले ही हैपी रहना हमारा सबसे बड़ा लक्ष्य रहता है लेकिन दुख, तनाव और संघर्ष से अगर आप स्थायी निजात पाना चाहते हैं, तो आनंद की स्थायी अवस्था कहीं बेहतर विकल्प है क्योंकि जैसे दिन के बाद रात आती है, खुशी के साथ दुख आना भी स्वाभाविक है। ये दुख हमारी खुश होने की डील का हिस्सा है।
बहुत सारे लोग अवरोधों के कारण खुश नहीं रह पाते। अब हम इन अवरोधों को हटाने के तरीकों पर बात करेंगे। ऐसे 5 अवरोध हैं। चलिए जानते हैं कि वे कैसे खुशी को हम तक नहीं पहुंचने देते और हम उन्हें कैसे हटा सकते हैं।

पहला अवरोध – खुशी को समझ न पाना
अक्सर लोग खुशी को समझ ही नहीं पाते क्योंकि उन्होंने कभी फुर्सत में बैठकर अपने लिए खुशी का अर्थ नहीं निकाला होता। खुशी एक ऐसा विचार है जो हर व्यक्ति के लिए अलग होता है। इस अवरोध को दूर करने के लिए खुद से कुछ देर खुशी पर गहरी बातचीत करने का समय निकालें। सोचें और मनन करें कि क्या गतिविधियाँ हैं, कौन-कौन से काम हैं, रिलेशनशिप में क्या-क्या बातें हैं, जिंदगी के कैसे अनुभव आपको खुशी देते हैं, आपको पूर्णता का अहसास देते हैं। जब आपको मालूम चलेगा कि आपके लिए खुशी के सही मायने क्या हैं तभी अपने कामों और अपने फैसलों को उसके अनुरूप ढाल सकेंगे।

दूसरा अवरोध – Superiority के पीछे भागना
कभी अपनी तुलना दूसरों से न करें। दूसरों से तुलना करना और हमेशा superior दिखने, superior होने की कोशिश करना आपको थका सकता है, निराश कर सकता है। अगर आप superior बनने या दिखने के पीछे भागना छोड़कर खुद को सुधारने, बेहतर बनाने पर ध्यान लगाओ, तो यह आपको ज्यादा खुशी की ओर ले जाएगा। इस अवरोध को दूर करने के लिए दूसरों से तुलना करना छोड़कर इस बात को स्वीकार करें कि इस जीवन में हर व्यक्ति की एक अलग यात्रा है।

तीसरा अवरोध- Medium maximization के पीछे न जाएं
पहले समझ लें कि ये medium maximization होता क्या है। खुशी को पैसे, चीजों या स्टेटस के जरिए हासिल करने की कोशिश करना ही medium maximization कहलाता है। ये चीजें क्षणिक आनंद दे सकती हैं, पर इनसे आपको स्थायी आनंद  नहीं मिल सकता। इस अवरोध को हटाना चाहते हैं तो आपको खुशियों के बाहरी स्रोतों की बजाय उनके आंतरिक स्रोतों पर काम करना होगा। अपने लिए अच्छी, मच्योर रिलेशनशिप पोषित कीजिए। ऐसी गतिविधियों में शामिल हों जो खुशी के साथ ही पूर्णता का अहसास भी लाए।

चौथा अवरोध – अपेक्षाओं से निजात पाएं
असंभव अपेक्षाएं हमें दुख ही दे सकती हैं, हमें परेशान ही कर सकती हैं। असल में अगर आप थोड़ा भी ठीक से ध्यान देंगे तो पाएंगे कि हमारे हर दुख, हर तकलीफ के पीछे हम खुद ही वजह होते हैं। इस अवरोध को दूर करने के लिए आपको स्वीकार्यता और लचीलापन बनाए रखने का अभ्यास करना चाहिए।

पांचवां अवरोध – ओवर कंट्रोल से बचें
अपने जीवन के हर पहलू को कंट्रोल करने की कोशिश करने से, हम स्ट्रेस और एंजाइटी का शिकार होकर खुशी की आहूति दे सकते हैं। हालांकि यह बहुत जरूरी है कि हम अपने हर काम की जिम्मेदारी लें और सोच-समझकर सभी फैसले करें, लेकिन यह भी बहुत जरूरी है कि हम चीजों को कंट्रोल कर पाने की अपनी सीमा को भी देखें। इस अवरोध को दूर करने के लिए जरूरी है कि हम हर चीज को कंट्रोल करने की जरूरत को जाने दें और अनिश्चितताओं को गले लगाना भी सीखें। खुद पर और वह जो आपके लिए सब कर रहा है यानी इस ब्रह्मांड पर भरोसा करें कि वह आपको सही दिशा में ले जा रहा है। यह थोड़ा विचित्र लगेगा पर सच यही है कि कंट्रोल को छोड़ने से आप ज्यादा शांति और ज्यादा खुशी महसूस करने लगते हैं।

सौजन्य से : नवभारत टाइम्स