चैत्र नवरात्री का आज दूसरा दिन है और आज के दिन मां दुर्गा के दूसरे स्वरूप यानी मां ब्रह्मचारिणि की पूजा की जाती है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, कहते है की माता पार्वती ने भगवान शिव को पाने के लिए हजारों वर्षो तक कठोर तपस्या की, हजारो वर्ष तपस्या करने के बाद इनका नाम तपश्चारिणी यानि की ब्रह्मचारिणी पड़ा तभी से वह मां ब्रह्नाचारिणि कहलाती है।