बच्चा छोटा हो या बड़ा, मीठा खाने का शौकीन जरूर होता है। माता पिता भी अन्नप्रासन से लेकर बच्चे की नाराजगी दूर करने तक के लिए मीठे का सहारा लेते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं जरूरत से ज्यादा मीठा बच्चे को देने से उनकी याद्दाश्त ही नहीं बल्कि सीखने की क्षमता भी प्रभावित हो सकती है।
क्या याद्दाश्त और सीखने की क्षमता को भी प्रभावित करती है चीनी?-
जॉर्जिया यूनिवर्सिटी की रिसर्च बताती है कि शुगर का ज्यादा इस्तेमाल विशेषकर सीखने और याद्दाश्त से जुड़े अहम हिस्से हिप्पोकैम्पस पर नकारात्मक असर डालता है। वैज्ञानिकों ने चूहों पर प्रयोग कर शुगर के ज्यादा इस्तेमाल के नुकसान को साबित किया है। चूहों को प्रति दिन मीठा ड्रिंक्स का इस्तेमाल कराया गया। रिसर्च के दौरान पता चला कि आदत की वजह से बचपन में सीखने और याद्दाश्त के सामान्य काम पर नकारात्मक असर पड़ा।
कैसे कम करें बच्चे की चीनी खाने की आदत-
-अधिक मीठी चीजों की जगह बच्चों को सिर्फ हेल्दी फूड्स ही खाने के लिए दें।
-बच्चे को दिन में कम के कम दो बार फ्लोराइड युक्त टूथपेस्ट (Fluoride toothpaste) से ब्रश करवाएं।
-बच्चे को शांत कराने के लिए मीठी चीजों का सहारा न लें।
-घर में मीठे खाद्य पदार्थ बहुत ही सीमित मात्रा में लाएं। यह बच्चे के साथ-साथ परिवार के सभी सदस्यों के लिए हेल्दी आदत हो सकती है।
-बच्चे को हमेशा बिना चीनी वाला दूध ही पिलाएं।
-बच्चे को कोई भी पैक्ड खाद्य पदार्थ देने से पहले उसमें सम्मलित चीनी की मात्रा जरूर देखें।