नई दिल्ली: कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष के चुनाव को लेकर राजनीतिक सरगर्मियां तेज हैं। वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह के अध्यक्ष पद का चुनाव लड़ने से मना करने के बाद अब मुकाबले में सिर्फ अशोक गहलोत और शशि थरूर रह गए हैं। यह तस्वीर भी साफ है कि अगर राहुल गांधी ने दावेदारी नहीं की तो अशोक गहलोत आसानी से अध्यक्ष पद जीत जाएंगे। ऐसे में इस बात को लेकर भी अटकलों का बाजार गरमा गया है कि राजस्थान में क्या होगा? क्या सचिन पायलट मुख्यमंत्री बनेंगे या अशोक गहलोत अपने करीबी और राजस्थान विधानसभा के अध्यक्ष सीपी जोशी को अध्यक्ष बनवाने में कामयाब होंगे।
कांग्रेस के अध्यक्ष पद के लिए अशोक गहलोत और शशि थरूर तगड़े
दावेदार हैं। इस पद को लेकर पूरी पार्टी दो धड़ों में बंट गई है। कांग्रेस नेता
गौरव वल्लभ ने भी कहा था कि करोड़ों कार्यकर्ताओं की तरह मैं भी चाहता हूं कि
राहुल गांधी कांग्रेस और देश का नेतृत्व करें। अगर राहुल तय करते हैं कि वे पार्टी
का नेतृत्व नहीं करेंगे और सामने आ रहे दो नामों में से एक का चुनाव करना पड़ा तो
दोनों में कोई तुलना ही नहीं है।
चुनाव आसान और सरल है: गौरव वल्लभ
उन्होंने कहा कि एक ओर अशोक गहलोत हैं जो केंद्रीय मंत्री, तीन बार सीएम, पांच बार सांसद व पांच बार विधायक
रहे और सीधे मुकाबले में उन्होंने मोदी-शाह को हराया। उनके पास 45 साल का बेदाग सियासी
सफर है। दूसरी ओर शशि थरूर हैं, जिनका पिछले आठ
साल में पार्टी में महत्वपूर्ण योगदान सिर्फ इतना ही है कि अस्पताल में भर्ती
सोनिया गांधी जी को पत्र लिखा। इस कारण से मेरे जैसे करोड़ों कार्यकर्ता दु:खी हुए
हैं। चुनाव आसान और सरल है।
सीपी जोशी को सीएम बनाने की कोशिश करेंगे गहलोत?
अगर अशोक गहलोत के मौजूदा रुख को देखा जाए तो राजस्थान कैबिनेट
में भी फेरबदल हो सकता है। वह कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष बने तो उन्हें मुख्यमंत्री
पद छोड़ना होगा। राहुल गांधी गुरुवार को साफ कर चुके हैं कि ‘एक व्यक्ति, एक पद’ का नियम सख्ती से लागू किया जाएगा। ऐसे में सियासी गलियारों
चर्चाएं ऐसी हैं कि सचिन पायलट को राजस्थान का सीएम बनाया जा सकता है। यानी अगला
चुनाव पायलट के नेतृत्व में ही लड़ा जाएगा। वहीं, अशोक गहलोत प्रयास में होंगे कि उनके विश्वस्त और
विधानसभा अध्यक्ष सीपी जोशी को मुख्यमंत्री पद की कुर्सी मिले।
सचिन पायलट की सक्रियता बढ़ी
गांधी परिवार का साथ मिलने से अशोक गहलोत का कांग्रेस अध्यक्ष
चुना जाना लगभग तय है। ऐसे में राजस्थान की सियासत में सचिन पायलट अपनी स्थिति
मजबूत करने में जुट गए हैं। बीते तीन दिन में उन्होंने केरल में ‘भारत जोड़ो यात्रा’ में भाग लिया।
दिल्ली में वरिष्ठ नेताओं से मिले। फिर जयपुर लौटे तो सीधे सीपी जोशी से मिलने पहुंचे।
उनके समर्थक विधायकों ने भी चुप्पी साध रखी है। वे किसी तरह का कोई विवाद नहीं
चाहते हैं, जिससे उनके नेता
की संभावनाओं को झटका लगे। हाल ही में गुर्जर समाज के कार्यक्रम में नारेबाजी को
लेकर अशोक गहलोत समर्थक मंत्री और सचिन पायलट समर्थक आमने-सामने आ चुके हैं।
अशोक गहलोत 28 को दाखिल करेंगे नामांकन
कांग्रेस के अध्यक्ष पद के लिए चुनाव प्रक्रिया 24 सितंबर यानी आज से
शुरू होगी। 30 सितंबर तक चलने वाली
इस प्रक्रिया में अशोक गहलोत 28 सितंबर को नामांकन दाखिल कर सकते हैं। वहीं, अध्यक्ष पद के लिए
चुनाव 17 अक्टूबर को होंगे
और मतगणना 19 नवंबर को होगी।