ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे और अंतिम टेस्ट मैच में रुड़की निवासी भारतीय टीम के विकेट कीपर ऋषभ पंत ने धमाकेदार पारी खेल कर सबके दिलों पर राज कर लिया है। एक समय था जब उन्हें रोडवेज की बसों में धक्के खाने पड़ते थे। लेकिन आज वे फलक पर चमक रहे हैं।
ऋषभ पंत का जन्म हरिद्वार में हुआ। लेकिन उनका परिवार रुड़की में रहता था। उनके दोस्त बताते हैं कि वे एक क्रिकेट मैच खेलने के लिए रुड़की से दिल्ली बस से सफर करते थे। इसके बाद वे दिल्ली शिफ्ट हुए और ट्रेनिंग लेनी शुरू कर दी। इसके बाद उन्होंने राजस्थान के लिए क्रिकेट खेलना शुरू किया।
17 साल की उम्र तक उन्होंने अंडर-14 और अंडर-16 लेवल तक राजस्थान के लिए क्रिकेट खेला। इसके बाद उन्होंने टीम छोड़ दी और वापस दिल्ली का रुख किया। इसके बाद उन्होंने दिल्ली में रणजी डेब्यू किया। आईपीएल-10 के दौरान उनके पिता राजेंद्र पंत की अचानक मौत हो गई थी। इसके बावजूद उन्होंने मैच खेला।
ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ चौथे और अंतिम टेस्ट मैच में रुड़की निवासी भारतीय टीम के विकेट कीपर ऋषभ पंत की धमाकेदार पारी पर परिजनों व स्थानीय लोगों ने जमकर जश्न मनाया। साथ ही एक दूसरे को मिठाई खिलाकर टीम इंडिया की जीत पर खुशी जताई। मंगलवार का दिन ऋषभ पंत और उनके परिवार समेत रुड़की के लोगों के लिए यादगार पल रहा।
ऑस्ट्रेलिया टीम के साथ खेले गए अंतिम और चौथे टेस्ट के आखिरी दिन ऋषभ पंत ने ऑस्ट्रेलियाई टीम के बॉलरों की जमकर धुनाई की। ऋषभ पंत ने टीम इंडिया के लिए एक शानदार पारी खेलते हुए 89 रन बनाकर टेस्ट सीरीज जीताकर इतिहास रच दिया। ऋषभ पंत की बेहतरीन पारी खेलने और टीम इंडिया के ऑस्ट्रेलिया में सीरीज जीतने पर पंत के परिजनों और स्थानीय लोगों ने जमकर जश्न मनाया।