मोरी के रेक्चा गांव पर एक फिर से भू धंसाव का खतरा मंडरा रहा है। लगातार हो रही मूसलाधार बारिश के चलते गांव के कई आवासीय भवनों में दरारें पड़ने से ग्रामीण भयभीत हैं। ग्रामीणों ने जिला प्रशासन से खतरे की जद में आए गांव को सुरक्षा प्रदान करने की मांग की है।
गोविंद वन्य जीव विहार राष्ट्रीय पार्क क्षेत्र के सीमावर्ती रेक्चा गांव में भू धंसाव भी खतरे में आ गया है। वर्ष 1994 भी भूस्खलन होने से गांव के लगभग 20 परिवार प्रभावित हुए थे, जिनके मकान भूधंसाव होने से मलबे में दब गए थे। वर्ष 1994 में हुई प्रभावित परिवारों को ग्रामीणों व प्रशासन के सहयोग से गांव से लगभग 2 किमी दूर हरिपुर में विस्थापित कर दिया था। अब फिर भू धंसाव होने से गांव के लिए खतरा बन गया है। ग्रामीण प्रहलाद सिंह रावत ने बताया कि यदि जल्द भू धंसाव ज़ोन के रोकथाम के लिए सुरक्षात्मक कार्य न हुआ तो गांव को भारी नुकसान होगा। ग्रामीणों ने क्षेत्रीय विधायक को सुरक्षात्मक कार्य की मांग करते हुए ज्ञापन भेजा।