उत्तराखंड कांग्रेस बदरीनाथ और मंगलौर विस उपचुनाव को लोकसभा चुनाव की हार का हिसाब बराबर करने का मौका तो मान रही है, लेकिन पार्टी प्रभारी शैलजा की अरुचि ने कांग्रेसियों की चिंता बढ़ा दी है। उपचुनाव के लिए भी कांग्रेस प्रभारी समय नहीं निकाल पा रही हैं।
चुनाव की घोषणा होने के बाद से वह एक बार भी उत्तराखंड नहीं आ सकीं। एक तरफ जहां भाजपा के प्रदेश प्रभारी से लेकर अन्य दिग्गज बारी-बारी से दोनों सीटों पर चुनाव प्रचार को धार दे रहे हैं, वहीं कांग्रेस प्रभारी रण में उतरने के बजाय वर्चुअल माध्यम से रणनीति बना रही हैं। आलम यह है कि पार्टी की जीत के लिए उनकी ओर से कांग्रेस नेताओं को जीत के लिए पत्र भेजकर रस्म अदायगी निभा दी गई है।