जिला चिकित्सालय की डायलिसिस व्यवस्था पीपीपी मोड के फेर में उलझ गई है। शासन से पीपीपी की स्वीकृति मिली न जरू रत के मुताबिक स्टाफ की तैनाती ही हो पा रही है। इसका खामियाजा किडनी की बीमारी से जूझ रहे मरीजों को भुगतना पड़ रहा है। दर्जनों मरीज अभी भी हल्द्वानी के चक्कर काटने को मजबूर हैं। जिला चिकित्सालय में डायलिसिस की तीन मशीनें लगी हुई हैं। मात्र एक चिकित्सक और तीन सहायक स्टाफ के भरोसे पूरी व्यवस्था चल रही है। तीन मशीनों के जरिये 18 मरीजों को डायलिसिस की सुविधा दी जा रही है। दर्जनों मरीज प्रतीक्षा सूची में हैं। मजबूरी में मरीज हल्द्वानी के चक्कर काटने को मजबूर हैं। कई मरीजों को हल्द्वानी में ही कमरे किराए पर लेकर डायलिसिस करानी पड़ रही है। पिथौरागढ़ में इस सुविधा के लिए मरीज अस्पताल प्रबंधन के आगे गिड़गिड़ा रहे हैं।