चंपावत-की गिरावट आ गई है। जिससे नगरीय और ग्रामीण क्षेत्रों में पेयजल को लेकर किल्लत बढ़ती जा रही है। जिला मुख्यालय के छतार वार्ड में महज 10 से 15 मिनट के लिए पानी की आपूर्ति की जा रही है। जिसमें लोगों को दो बाल्टियां भी नहीं भर पा रही हैं। पेयजल संकट से निपटने के लिए जल संस्थान की ओर से जहां टैंकरों और पिकअप वाहनों के जरिए विभिन्न वार्डों में पेयजल आपूर्ति की जा रही है। वहीं ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को कई कई किलोमीटर दूर से पीने के पानी की व्यवस्था करनी पड़ रही है। जल संस्थान के अधिशासी अभियंता विलाल यूनुस के अनुसार लंबे समय से बरसात नहीं होने के कारण पेयजल स्रोतों के जल स्तर में 50 फीसदी से अधिक की गिरावट आ गई है। जिस कारण योजनाओं में पर्याप्त पानी नहीं आ पा रहा है।