ग्रामीण मेहनत मजदूरी कर अपने खून पसीने की कमाई को इस आशा से डाक घर में जमा करते है कि आने वाले समय में वह अपनी बेटी की शादी करेगे, अपने बच्चों की शिक्षा दिक्षा व भविष्य में कठिन समय में उनके काम आयेगा लेकिन इसे विडम्बना ही कहा जायेगा कि सुरक्षित व भरोसामन्द माने जाने वाले वचत बैक पोस्ट आफिस से ही ग्रामीणों की मेहनत से जामा पूजीं पोस्ट आफिस के कर्मचारी की लालच की भैट चढ जाती है व लोगों को अपनी ही मेहनत से जामा पूजीं को पाने हेतु दर -दर की ठोकरे खानी पडेती है ।
इस तरह का मामला चमोली जनपद के वि0 ख0 नारायण बगड के सुदूरवर्ती सबसे बडे गांव किमोली के उपडाक घर में सामने आया है, जहां ग्रामीणों की लगभग 60 लाख से अधिक की धनराशी जो उनके द्वारा पोस्ट आफिस में जमा की गयी थी जिसमें सेविंग, फिक्स, टीडी, फडी,एआईसी व मनरेगा के पैसे सम्मलित है । मामला तब प्रकाश में आया जब उपरोक्त पोस्टमास्टर की अन्यत्र तैनाती हो गयी व वहां पर तैनात पोस्टमैन को पोस्टमास्टर को चार्ज दिया गया ।