सेना में जाना उत्तराखंड के युवाओं के लिए पेशा नहीं बल्कि जज्बा है। यहां के कई वीर सपूतों ने प्राणों की परवाह किये बिना दुश्मन देशों को घुटने टेकने पर मजबूर किया। देवभूमि इनसाइडर इन्हीं शूरवीरों की कहानी इन्हीं की जुबानी आप तक पहुंचा रहा है।आज देखिये पैरा कमांडो शमशेर सिंह बिष्ट की कहानी...