कोलकाता में हॉकी वर्ल्डकप के लोकार्पण समारोह में भारतीय हॉकी के दिग्गज खिलाड़ी और मेजर ध्यानचंद के बेटे अशोक ध्यान चंद अपनी बात कहते-कहते भावुक हो गए।
दरअसल, हॉकी बंगाल की ओर से कोलकाता के नेताजी इंडोर स्टेडियम में हॉकी वर्ल्डकप ट्राफी का लोकार्पण किया गया। इस मौके पर ओलंपियन अशोक ध्यान चंद ने कहा, आज एक बार यहां आकर और हॉकी वर्ल्डकप की ट्रॉफी को देखकर मन फिर से 1975 में पहुंच गया। पुराने दिन फिर से लौट आए। मैंने भी एक दिन हॉकी वर्ल्डकप के ट्राफी के सामने खड़े होकर एक सपना देखा था।
अशोक ध्यानचंद ने कहा कि, 1975 में हमने हॉकी विश्वकप जीता तो वह सोने का मेडल लेकर पहली बार पिता को दिखाया था। उनकी दी हुई शिक्षा देखी, सीखो और खेलो से ही यह सब कुछ संभव हो पाया था। उल्लेखनीय है कि, पुरुषों का हॉकी वर्ल्डकप 13 से 29 जनवरी, 2023 को ओड़िशा के लाउलकेला और भुवनेश्वर में खेला जाएगा।
एक सवाल के जवाब में अशोक ने कहा, हमारे जमाने की हॉकी थी, वह अब नहीं है। एक जमाना था जब हमारा देश दूसरों को हॉकी सिखाता था लेकिन आज वक्त आ गया है कि, हमको दूसरों से सीखना पड़ रहा है। देखिए, हॉकी कहां से कहां आ गई।