रामनगर: उत्तराखंड में कई लोकपर्व बनाये जाते हैं. उनमें से एक है फूलदेई छम्मा देई का पर्व. बता दें कि फूलदेई वसंत ऋतु के आगमन का प्रतीक है. इस पर्व में बच्चे परंपरानुसार सुबह-सवेरे ही अपने गांव, मोहल्ले के घरों में जा कर उनकी देहरियों (धेलियां) पर रंग बिरंगे फूलों को बिखेरते हैं. गीत गाते हुए सुख समृद्धि की मंगलकामना करते हैं. फूलदेई को सीधे तौर पर प्रकृति से जोड़कर मनाया जाता है. वहीं अपनी जड़ों से भी जोड़ कर रखने का त्यौहार माना जाता है.फूल देई छम्मा देई का उत्तराखंड का लोकपर्व अब आधुनिकता की वजह से विलुप्त होने की कगार पर है. लेकिन कई परिवारों के जागरूक होने से वे इस परंपराओं को अपनी नई पीढ़ी को बता व सिखा रहे हैं. बता दें कि चैत्र महीने की संक्रांति के दिन पहाड़ में फूलदेई लोकपर्व जाता है. आधुनिकता की होड़ में ये पर्व लगातार हाशिए पर जा रहा है.